आज हम इस पोस्ट के जरिये MRI scan क्या है, MRI full form in Hindi, MRI क्यों करते है, MRI scan करवाते समय किन किन बातो का ध्यान देना चाहिए, MRI का उपयोग, MRI के बारे में अच्छे से जानेगे।
जैसे जैसे लोगो की उम्र बढ़ती जाती है वैसे वैसे लोगो के शरीर में कई तरह की परेशानियां होना शुरू हो जाती है, ऐसे में डॉक्टरों को इसकी जाँच करने के लिए कभी कभी MRI Scan का सहारा लेना पड़ता है, MRI की खोज ने मेडिकल के क्षेत्र में क्रांति ही ला दी। जब से इसका अविष्कार हुआ है तब से डॉक्टर ने इसके उपयोग करने के तरीकों में कई तरह के सुधार किये है, जिससे मेडिकल प्रक्रिया में बहुत मदद मिली है।

MRI Full Form in Hindi
MRI का फुल फॉर्म Magnetic Resonance Imaging ( चुंबकीय प्रतिध्वनि इमेजिंग ) होता है। MRI scan का उपयोग डॉक्टर मरीज का शारीरिक परीक्षण करने के लिए करते है तथा ये देखने के लिए भी करते है की, उपचार के प्रति उस मरीज का क्या प्रतिक्रिया है यानी शरीर के जिस जगह का उपचार किया गया है वो जगह ठीक हो रहा है की नहीं।
MRI Scan क्या है?
MRI स्कैन का अर्थ होता है मैग्नेटिक रेजोनेंस इमेजिंग, यह मेडिकल के क्षेत्र में बहुत बड़ी खोज है। MRI स्कैन में चुंबकीय शक्ति, रेडिओ किरणों और कंप्यूटर के जरिये आपके शरीर के किसी भी अंदरूनी अंग की तस्वीरें निकाल कर जाँच की जा सकती है। एमआरआई मशीन आपके शरीर में उपस्थित हाइड्रोजन प्रोटॉन के जरिये तस्वीर निकलती है।
शरीर में अधिक मात्रा में पानी होता है तो एमआरआई मशीन की रेडियो किरणें जब हाइड्रोजन के सम्पर्क में आती है तो वहां पर हाइड्रोजन स्पिन(घूमने) से एक इमेज बनता है जिसकी सहायता से आपके शरीर की परेशानियों का पता लगाया जाता है।
इस टेस्ट में एक्स-रे, CT-scan आदि किसी भी टेस्ट की तरह रेडिएशन या हानिकारक चीजों का प्रयोग नहीं किया जाता। MRI scan में चुम्बक का प्रयोग किया जाता है इसलिए ये एक्स-रे, सिटी स्कैन से बिलकुल अलग है।
MRI स्कैन क्यों?
अब आपके मन में सवाल होगा आखिर क्यों MRI स्कैन किया जाता है उसे भी जान लेते है। MRI scan के जरिये डॉक्टर बिना किसी उपकरण का इस्तेमाल किये हमारे शरीर की अंदरूनी अंगों का बारीकी से जाँच कर सकते है। एमआरआई स्कैन शरीर के छोटी सी छोटी परेशानियों या बीमारी का पता लगाने और उसका इलाज करने में डॉक्टर की काफी सहायता करता है।
इस स्कैन का प्रयोग मरीजों का शारीरिक परीक्षण करने से साथ साथ उनके शरीर में उपचार का असर हो रहा है या नहीं जानने के लिए किया जाता है। इस मशीन के जरिये आपका दिमाग सोते समय किस तरीके से काम करता है, जब आप कुछ सोचते है या काम करते है तो उस समय आपके दिमाग का कौन सा हिंसा ज्यादा एक्टिव रहता है, आपके दिमाग की सारी हलचलों के बारे में या दिमागी परेशानियों जैसे स्ट्रोक, मस्तिष्क में ट्यूमर के बारे में पता लगाया जा सकता है।
MRI कैसे होता है
MRI स्कैन करने से पहले डॉक्टर मरीज के शरीर में उपस्थित सभी प्रकार की धातु की चीजे जैसे, अंगूठी, घडी, कड़ा, आदि को निकलवाता है उसके अलावा मरीज के सारे कपड़े को निकालकर उन्हें सफेद या नीले रंग का कपड़ा पहनने को कहा जाता है।
उसके बाद मरीज को MRI मशीन के बेड पर लिटा दिया जाता है और उसको मशीन के अंदर भेजा जाता है, फिर मशीन में उपस्थित चुंबकीय और रेडिओ किरणे के जरिये स्कैन किया जाता है और कंप्यूटर की सहायता है मरीज के शरीर की अंदुरुनी अंगो का फोटो ले लिया जाता है, इन फोटो के सहारे डॉक्टर मरीज की परेशानियों का पता लगाते है और वो परेशानी कितनी पुरानी है उसका भी पता इस मशीन के जरिये लगाया जा सकता है।
MRI स्कैन की मदद से आपके शरीर के सभी प्रकार की परेशानी चाहे वो बड़ी हो या छोटी का पता आसानी से लगाया जा सकता है। यह जरूरी नहीं की आपको पुरे शरीर का स्कैन करवाना है, आपके शरीर में जिस जगह पर दिक्कत हो या जिस जगह का MRI scan करवाना हो आप उस जगह का स्कैन करवा सकते है।
MRI Scan का उपयोग
जैसे जैसे नयी नयी बीमारियों बढ़ती जा रही है वैसे वैसे MRI मशीन का प्रयोग भी बढ़ते जा रहा है क्योंकि बहुत सी बीमारी है जिनके बारे में बारीकी से जानने के लिए एमआरआई स्कैन का प्रयोग किया जाता है। ज्यादातर मामलों में दिमाग से जुड़ी परेशानी से मस्तिष्क में ट्यूमर, स्टोक इसके अलावा रीढ़ की हड्डी की जाँच करने के लिए भी इसका उपयोग होता है।
MRI Scan का उपयोग शरीर के सभी अंगो का जाँच करने के लिए कर सकते है
- मस्तिष्क की जाँच
- रीढ़ की हड्डी की जाँच
- शरीर की हड्डियों और जोड़ो की जाँच
- स्तनों की जाँच
- हृदय की जाँच
- लिवर, गर्भाशय आदि की जाँच की जा सकती है।
MRI स्कैन करवाने से पहले जरूरी बाते
- जब आप एमआरआई स्कैन करवाने जाए तो एक बात का ध्यान जरूर रखे की आपके कान, दांत या हड्डी में धातु की किसी भी प्रकार की चीजे नहीं होनी चाहिए अगर है तो उसकी पूरी जानकारी आप अपने डॉक्टर को जरूर दे।
- अगर आप पहले से किसी प्रकार की दवाई का सेवन कर रहे है या आपने कभी पहले सर्जरी करवाई है तो उसकी भी जानकारी डॉक्टर को जरूर दे।
- सबसे जरूरी बात, MRI मशीन जिस कमरे में होती है वहां धातु की चीजों को ले जाने की मनाही होती है क्योंकि MRI मशीन की चुंबकीय क्षमता बहुत ज्यादा होती है और वो धातु की चीजों को अपनी और खींच सकता है जिससे MRI जाँच करने में बड़ी दिक्कत आ सकती है।
MRI स्कैन करवाने में खर्च कितना होता है
MRI स्कैन करवाने का खर्च सभी हॉस्पिटल में अलग अलग होता है इसका सही खर्च आपको हॉस्पिटल में जाकर ही पता चलेगा। सरकारी हॉस्पिटलों में MRI जाँच बाकि प्राइवेट हॉस्पिटलों से कम खर्चे में हो जाता है।
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निष्कर्ष –
दोस्तों हमने इस लेख के माध्यम से आपको MRI Scan के बारे में बताया है। तो अब आप अच्छे से जान गए होंगे MRI स्कैन क्या होता है और कैसे होता है, MRI Full Form Hindi, एमआरआई करवाने से पहले किन किन बातो का ध्यान रखना चाहिए।
मुझे उम्मीद है हमारे इस पोस्ट को पढ़कर आपको एमआरआई से जुड़ी सभी तरह की जानकारी मिल गई होगी। यदि आपको इस लेख में कुछ जानने को मिला तो इस लेख को शेयर जरूर करें