इस लेख में TLC Full Form Medical in Hindi, टीएलसी जांच क्या होता है (TLC Test in Hindi), डॉक्टर ये जांच क्यों करवाने बोलते है, इसी तरह के सवालों के जवाब देने वाला हूँ। जब हमारे शरीर में किसी तरह की गंभीर बीमारी होती है तब डॉक्टर हमें सबसे पहले TLC टेस्ट करवाने के लिए कहते है। TLC एक तरह से खून की जांच होती है जिससे डॉक्टरों को हमारे शरीर के बारे में पता चल जाता है। लेकिन क्या आपको पता है TLC टेस्ट क्या होता है? डॉक्टर हमें पहले टीएलसी टेस्ट करवाने क्यों बोलते है, अगर आप इससे जुड़ी जानकारी चाहते है तो इस लेख को पूरा पढ़े

TLC Full Form in Hindi
TLC का फुल फॉर्म ” Total Leukocyte Count ( टोटल ल्यूकोसाइट काउंट ) “ होता है, हिंदी में इसका अर्थ कुल ल्यूकोसाइट गिनती होता है।
ल्यूकोसाइट्स को श्वेत रक्त कोशिकाएं या सफेद रक्त कोशिकाएं कहते है। TLC एक प्रकार से खून की जाँच है।जिसके जरिए हमारे शरीर में मौजूद सफेद रक्त कोशिकाओं की गिनती की जाती है। जानकारी के लिए बता दूँ DLC और TLC दोनों ही खून की जाँच होती है।
DLC से खून में मौजूद सफेद रक्त कोशिकाओं का प्रतिशत पता चलता है जबकि TLC से शरीर में मौजूद सफेद रक्त कोशिकाओं की संख्या का पता चलता है।
TLC क्या होता है? (TLC Blood Test in Hindi)
टीएलसी (TLC) शरीर में मौजूद श्वेत रक्त कोशिका की संख्या को गिनने के लिए किया जाने वाला एक तरह की खून की जाँच है। जिससे हमारे स्वास्थ्य के बारे में पता किया जाता है। जब डॉक्टर हमारे खून का जाँच करते है तो इसमें कई सारे परिणाम सामने आते है जिसमे लाल रक्त कोशिका (RBC), सफ़ेद रक्त कोशिका (WBC), प्लेटलेट्स, हीमोग्लोबिन आदि होते है।
टीएलसी डॉक्टरों द्वारा किसी भी बीमारी का पता लगाने के लिए किया जाने वाला जाँच है जिससे डॉक्टरों को मरीज के अंदरूनी बुखार, पेशाब में इन्फेक्शन, खासी, एनीमिया आदि खून सी जुड़ी परेशानी के बारे में पता चलता हैं।
टीएलसी एक तरह से खून की जाँच होती है जिससे हमारे शरीर में मौजूद श्वेत रक्त कोशिकाओं के बारे में पता चलता है। सफेद रक्त कोशिकाएं जिसे ल्यूकोसाइट्स के नाम से भी जाना जाता है। ल्यूकोसाइट्स हमारे शरीर के लिए बहुत जरुरी होते है, ये हमारे शरीर के रक्षा तंत्र का जरूरी अंग है क्योंकि ये हमारे शरीर में होने वाले बीमारियों से लड़ता है। यह शरीर में एक सैनिक की तरह कार्य करता है और हमें संक्रमण से बचाता है।
श्वेत रक्त कोशिका क्या है (WBC count in Hindi)
सफ़ेद रक्त कोशिका को ल्यूकोसाइट्स भी कहते है, ये शरीर में एंटीबॉडी का निर्माण करते है। यह हमारे शरीर को बैक्टीरिया, वायरस से लड़ने के लिए मदद करता है इसके साथ ही होने वाले बीमारियों से बचाता है इसी कारण से श्वेत रक्त कोशिका को हमारे शरीर का रक्षक भी कहा जाता है। ये शरीर में होने वाले रोगो से लड़ने में मददगार होते है और यह हमारे शरीर की प्रतिरक्षा प्रणाली का अहम हिस्सा भी है।
आपको बता दूँ सफेद रक्त कोशिका सभी उम्र के लोगो में अलग अलग होता है। स्वस्थ इंसान के खून में सफेद रक्त कोशिका की सामान्य सीमा 4000-11000/mm3 होती है, यह संख्या महिला, परुष, बच्चे और युवा में अलग अलग होते है, देखा ये गया है कि, व्यस्क के मुकाबले स्वस्थ बच्चो और युवाओं में सफेद रक्त कोशिकाओं की संख्या अधिक होती है।
सफेद रक्त कोशिका पांच प्रकार के होते है-
- न्यूट्रोफिल
- लिम्फोसाइट्स
- मोनोसाइट्स
- बेसोफिल्स
- इओसिनोफिल्स
TLC टेस्ट क्यों किया जाता है
जब किसी व्यक्ति के शरीर में किसी प्रकार की एलर्जी, संक्रमण, गंभीर समस्या होती है तब डॉक्टर सबसे पहले टीएलसी जाँच करवाने को कहते है, ताकि इससे आपके शरीर में होने वाले बीमारी का अच्छे से पता चल सके। इसके अलावा शरीर में होने वाले इंफेक्शन का पता लगाने के लिए भी टीएलसी टेस्ट करते हैं। इस टेस्ट से खून से जुड़ी बीमारी का अच्छे से पता लगाया जा सकता है कि वो बीमारी कितनी गंभीर है। रक्त कैंसर की जाँच करने के लिए भी टीएलसी जाँच की जरूरत पड़ती हैं।
सामान्य TCL काउंट कितना होना चाहिए?
उम्र के हिसाब से सबसे टीएलसी काउंट अलग अलग होता है जो इस प्रकार है –
- नवजात शिशु का टीएलसी काउंट 10000 – 26000/mm3
- दो हफ्ते के बच्चे का टीएलसी काउंट 6000 – 21000/mm3
- 4 हफ्ते के बच्चे का टीएलसी काउंट 6000 – 18000/mm3
- एक या एक वर्ष से कम उम्र के बच्चे का टीएलसी काउंट 6000 – 17000/mm3
- 1 से 6 वर्ष के बच्चे में टीएलसी काउंट 5000 – 17000/mm3
- 6 से 12 वर्ष के बच्चे में टीएलसी काउंट 4500 – 14500/mm3
- 12 से 18 वर्ष में टीएलसी काउंट 4500 – 13000/mm3
- वयस्क में टीएलसी काउंट 4000 – 11000/mm3
टीएलसी काउंट उम्र के हिसाब से अलग अलग होता है यहाँ तक की महिलाओं और पुरुषों में भी टीएलसी काउंट अलग अलग होता है। बच्चों का टीएलसी काउंट ज्यादा होता है।
शरीर में टीएलसी बढ़ने से क्या होता है
मनुष्य के शरीर में सफेद रक्त कोशिका हमेशा सामान्य स्थिति में होना चाहिए। WBC के बढ़ने से शरीर को कई सारी बीमारियों से खतरा होता है इसके साथ ही सफेद रक्त कोशिका के बढ़ने से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो जाती है और मानव शरीर में स्वास्थ्य से जुड़ी समस्या बढ़ जाती है। सफेद रक्त कोशिका के बढ़ने की स्थिति को ल्यूकेमिया कहते है जिसे हम रक्त कैंसर भी कह सकते है।
Conclusion
इस लेख में हमने टीएलसी के बारे में विस्तार से जाना, इसमें पोस्ट में हमने टीएलसी क्या है?, TLC Full Form, टीएलसी जाँच क्यों किया जाता है सभी चीजों के बारे में अच्छे से जाना। मुझे आशा है इस पोस्ट को पढ़कर टीएलसी के बारे में आपको सभी तरह की जानकारी मिल गयी होगी।
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Good
8 साल के बच्चे मे tlc count
आप इसके लिए डॉक्टर से सम्पर्क करे
14 year child TLC count
4500-13000/mm3
TLC km krne ke liye ky kre
टीएलसी हमेसा सामान्य स्थिति में होना चाहिए टीएलसी को सामान्य स्तिथि में लाने के लिए आप खाने पीने का अच्छे से ध्यान रखे या फिर डॉक्टर की सलाह से दवाई भी ले सकते ह